कांग्रेस ने असम के मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल, भाजपा अध्यक्ष जे.पी. नड्डा, प्रदेश भाजपा अध्यक्ष रंजीत कुमार दास और आठ प्रमुख अखबारों के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है। यह शिकायत कथित रूप से ‘खबर के रूप में विज्ञापन छपवाने’ के लिए दर्ज कराया गया है। शिकायत के बाद निर्वाचन आयोग ने कार्रवाई करते हुए सभी आठों अखबारों को नोटिस जारी किया है।
कांग्रेस का कहना है कि भाजपा ने समाचार की शक्ल में छपे विज्ञापन के जरिए ऊपरी असम की उन सभी सीटों पर अपनी जीत का दावा किया है, जहां 27 मार्च को पहले चरण में मतदान हुआ था। ये विज्ञापन भाजपा की तरफ से पहले चरण के चुनाव खत्म होने के अगले दिन यानी 28 मार्च को प्रकाशित कराए गए थे।
असम प्रदेश कांग्रेस कमेटी (एपीसीसी) के विधि विभाग के अध्यक्ष निरन बोरा ने बताया कि रविवार की रात आदर्श आचार संहिता, जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 126ए के प्रावधानों और 26 मार्च को जारी चुनाव आयोग के दिशा-निर्देशों के कथित उल्लंघन के लिए प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी। यह शिकायत दिसपुर थाने में दर्ज कराई गई थी।
ये भी पढ़ें: एक तरफ महबूबा मुफ्ती का पासपोर्ट आवेदन नामंजूर, दूसरी तरफ PDP के 3 नेता PC में शामिल
उन्होंने कहा, “मुख्यमंत्री, भाजपा अध्यक्ष, प्रदेश इकाई के प्रमुख तथा पार्टी के अन्य सदस्यों ने दूसरे और तीसरे चरण में मतदाताओं के प्रभावित करने की पूर्व नियोजित साजिश के तहत जान-बूझकर विभिन्न समाचार पत्रों के पहले पन्नों पर समाचार के रूप में विज्ञापन दिया है, जिसमें दावा किया गया है कि भाजपा ऊपरी असम की सभी सीटों पर जीत हासिल करेगी।”
बोरा ने आगे कहा कि भाजपा के नेताओं को एहसास हो गया है कि वे लोग चुनाव हार रहे हैं, इसलिए उनलोगों ने मतदाताओं को प्रभावित करने के लिए अवैध और असंवैधानिक तरीका अपनाना शुरू कर दिया है।

बोरा ने पत्रकारों से कहा, “सबसे पहले भाजपा ने कहा कि वह 46 सीटें जीतेगी, फिर विज्ञापन में दावा किया गया कि भगवा दल सभी 47 सीटों पर जीत दर्ज करेगा। बाद में राज्य भाजपा के अध्यक्ष ने कहा कि उनकी पार्टी को 42 सीटें मिलेंगी और अंत में गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि भाजपा 37 सीटों पर जीत हासिल करेगी।”
ये भी पढ़ें: होला मोहल्ला मनाने से रोका तो भीड़ ने किया पुलिस पर हमला, 4 लोग घायल
उन्होंने इसके बाद कहा, “कितनी सीटों पर जीत हासिल करनी है, इसे लेकर भाजपा नेताओं में एकमत नहीं है, क्योंकि वे जनता को भ्रमित करना और अपनी असफलता को छुपाना चाहते हैं। अगर उन्हें पहले चरण के चुनाव में सभी सीटों पर जीत का इतना ही विश्वास है, तो वे अखबारों में विज्ञापन पर करोड़ों रुपये क्यों खर्च कर रहे हैं।”
उन्होंने कहा, “सवाल यह भी उठता है कि ऐसे क्या हालात पैदा हो गए हैं कि भाजपा को अपनी जीत के अनुमान का विज्ञापन छपवाने पर करोड़ों रुपये खर्च करने पड़े। यदि उसे जीत का भरोसा है तो उस पर जोर देने के लिए पैसे क्यों खर्च करने हैं?”
पुलिस शिकायत में असम प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने नामजद लोगों और समाचार पत्रों के खिलाफ त्वरित तथा आवश्यक कार्रवाई का अनुरोध किया है। चुनाव आयोग के समक्ष प्रदेश कांग्रेस ने विज्ञापन के प्रकाशन के खिलाफ रविवार को असम के मुख्य निर्वाचन अधिकारी नितिन खाड़े, जबकि अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (एआईसीसी) ने शिकायत दर्ज कराते हुए भाजपा तथा समाचार पत्रों के खिलाफ तत्काल कार्रवाई का अनुरोध किया था।
ये भी पढ़ें: एक और BJP नेता का फांसी के फंदे से लटका मिला शव, खुदकुशी की आशंका
मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय के एक अधिकारी ने कहा कि चुनाव आयोग मामले की जांच करेगा। उल्लेखनीय है कि बीजेपी यह विज्ञापन असम के अंग्रेजी, असमी, हिंदी और बंगाली भाषा के प्रमुख अखबारों में प्रकाशित हुआ था। जिन अखबारों के खिलाफ मामला दर्ज कराया गया है उसमें असम ट्रिब्यून, असोमिया प्रतिदिन, आमार असोम, नियोमिया बार्ता, असोमिया खबोर, दैनिक असम, दैनिक जुगसंख और दैनिक पूर्वोदय के नाम शामिल हैं।
जैसाकि मालूम है कि असम विधान चुनाव तीन चरणों में संपन्न होने वाले हैं। पहले चरण का मतदान खत्म हो चुका है जबकि दूसरे चरण में 39 सीटों के लिए 1 अप्रैल को और तीसरे और अंतिम चरण के लिए 6 अप्रैल को वेटिंग होने वाली है।
द न्यूज मिल वेबसाइट की एक रिपोर्ट के मुताबिक, कांग्रेस ने 30 मार्च को भाजपा के विज्ञापनों के जवाब में राज्य के अखबारों में विज्ञापन दिया है, जिसका शीर्षक है- ‘पांच गारंटी का चला जादू, पूरे असम में कांग्रेस की लहर’। ये विज्ञापन तकरीबन 15 अखबारों में प्रकाशित कराए गए हैं।
प्रिय पाठक, पल-पल के न्यूज, कहानी-कविता, संपादकीय, लाइफस्टाइल, मनोरंजन और साहित्य की खबरें पाने के लिए ‘न्यूज बताओ‘ के फेसबुक और ट्विटर हैंडल से जुड़ें। क्लिक कर लाइक और फॉलो करें!
Leave a Reply