कृषि कानून वापसी पर आग बबूला हुईं कंगना रनौत, बोलीं- …ये एक जिहादी राष्ट्र है

कृषि कानून वापसी पर आग बबूला हुईं कंगना रनौत, बोलीं- …ये एक जिहादी राष्ट्र है

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज शुक्रवार को अपने तीनों कृषि कानूनों को निरस्त करने का एलान कर दिया। लेकिन, उनका ये फैसला फिल्म एक्टेस कंगना रनौत को नहीं सुहाया। वे नाखुश नजर आईं और कृषि कानूनों की वापसी को दु:खद और शर्मनाक बता दिया।

कंगना रनौत ने कहा कि मोदी सरकार का यह फैसला पूरी तरह से अनुचित है। अगर संसद में चुनी हुई सरकार के बदले सड़कों पर लोगों ने कानून बनाना शुरू कर दिया तो यह एक जिहादी राष्ट्र है। उन सभी को बधाई जो ऐसा चाहते थे।

कृषि कानून वापसी पर आग बबूला हुईं कंगना रनौत, बोलीं- ...ये एक जिहादी राष्ट्र है

एक दूसरे पोस्ट में उन्होंने दिवंगत पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की एक तस्वीर साझा की। उन्होंने लिखा, “जब देश की अंतरात्मा गहरी नींद में है, तो लठ ही एकमात्र समाधान है और तानाशाही ही एकमात्र संकल्प है…। जन्मदिन मुबारक हो प्रधानमंत्री जी!” जैसा कि मालूम है कि आज पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की 104वीं जयंती है।

ये भी पढ़ें: किसानों के आगे मोदी सरकार ने घुटने टेके, तीनों कृषि कानून वापस लिए

उल्लेखनीय है कि आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के नाम अपने संबोधन में कहा कि हम किसानों को समझाने में कामयाब नहीं हुए, हमारी तपस्या में ही कमी रही, जिसकी वजह से हमें यह कानून वापस लेना पड़ रहा है।

कंगना रनौत ने रिकवर के बाद शेयर किया अनुभव, कहा- फाल्स रिकवरी देता है कोरोना

उन्होंने कहा कि उनकी सरकार तीन नये कृषि कानून के फायदों को किसानों के एक वर्ग को तमाम प्रयासों के बावजूद समझाने में नाकाम रही। उन्होंने कहा कि इन तीनों कृषि कानूनों का लक्ष्य किसानों विशेषकर छोटे किसानों का सशक्तीकरण था।

ये भी पढ़ें: टिकैत बोले- अभी खत्म नहीं होगा किसान आंदोलन, संसद में रद्द होने तक रहेगा जारी

प्रधानमंत्री ने तीन कृषि कानून का उल्लेख करते हुए कहा कि देश के कोने-कोने में कोटि-कोटि किसानों ने, अनेक किसान संगठनों ने, इसका स्वागत किया, समर्थन किया। मैं आज उन सभी का बहुत आभारी हूं।

उन्होंने आगे कहा कि हमारी सरकार, किसानों के कल्याण के लिए, खासकर छोटे किसानों के कल्याण के लिए, देश के कृषि जगत के हित में, देश के हित में, गांव गरीब के उज्ज्वल भविष्य के लिए, पूरी सत्य निष्ठा से, किसानों के प्रति समर्पण भाव से, नेक नीयत से ये कानून लेकर आई थी।



(प्रिय पाठक, पल-पल के न्यूज, संपादकीय, कविता-कहानी पढ़ने के लिए ‘न्यूज बताओ’ से जुड़ें। आप हमें फेसबुक, ट्विटर, टेलीग्राम, इंस्टाग्राम और यूट्यूब पर भी फॉलो कर सकते हैं।)

Leave a Reply

Your email address will not be published.