उत्तर प्रदेश के प्रयागराज जिले के फाफामऊ और श्रृंग्वेरपुर घाट पर मौजूद कब्रों से प्रदेश की योगी सरकार ने लाल-पीली चुनरी हटवा दिए हैं। गंगा किनारे रेत में दफन शवों के ऊपर से अफसरों की मौजदूगी में सफाईकर्मियों को तैनात कर पूरे घाट से चुनरी हटवाई गई। दरअसल, शवों को दफन करने के बाद पहचान के लिए कब्रों के किनारों पर लकड़ी के डंडे गाड़ दिए गए थे जिसे भी हटवा दिया गया है।
अपनी छवि बचाने के लिए
— Pappu Yadav (@pappuyadavjapl) May 25, 2021
शव से कफ़न चुराने वाली
पहली सरकार
गंगाजी भी दंग
जनता का मोहभंग pic.twitter.com/aN6PLdbfHE
माना जा रहा है कि कैमरे से बचने के लिए रविवार की रात एक जिम्मेदार अफसर ने कुछ अफसरों के साथ फाफामऊ और श्रृंग्वेरपुर घाट का निरीक्षण किया था। अफसर ने पहले फाफामऊ पुल से घाट का निरीक्षण किया और फिर दल-बल के साथ घाट पर गए। हिंदुस्तान अखबार के मुताबिक, उसी अफसर के निर्देश पर ही सुबह फाफामऊ और श्रृंग्वेरपुर घाट की सफाई करवा कर चुनरी हटवाई गई। ऐसा इसलिए किया गया ताकि दफन शवों की पहचान न हो सके।
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दरअसल, सोशल मीडिया पर वायरल तस्वीरों में चुनरी और लकड़ी से ही इस बात की पहचान हो रही थी कि शव दफन किए गए हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, फाफामऊ घाट पर 100 से अधिक सफाईकर्मी नगर निगम के जोनल अधिकारी नीरज सिंह की देख-रेख में लगाए गए थे। सफाई के वक्त नगर निगम निगरानी समिति के सदस्य मुकुंद तिवारी, कमलेश तिवारी भी मौजूद थे। दूसरी तरफ श्रृंग्वेरपुर घाट पर कुत्ता और सुअर पकड़ने के लिए टीम लगाई गई थी। दो कुत्तों को पकड़कर जंगल में छोड़ा गया।
पहले अंतिम संस्कार का मूल अधिकार छीन लिया और फिर कफन भी चुरा लिया !
— Pankhuri Pathak पंखुड़ी पाठक پنکھڑی (@pankhuripathak) May 25, 2021
वाह फर्जी ‘ हिंदुत्ववादियों ‘ की सरकार ! #कफन_चोर_सरकार pic.twitter.com/LQbycmkI8G
खबरों के अनुसार, श्रृंग्वेरपुर में गंगा किनारे दफनाए गए उन शवों का दाह संस्कार करने का प्रयास भी किया गया जो रेत से बाहर आ रहे थे। घाट पर इसके लिए आठ स्थानों पर चिता सजाई गई थी। लेकिन कोई शव रेत से बाहर नहीं दिखा। इसलिए दाह संस्कार नहीं किया गया।
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एसडीएम सोरांव अनिल चतुर्वेदी ने बताया कि शवों के पास से इकट्ठा की गई लकड़ियों को अब उन लोगों को दिया जाएगा, जिनके पास दाह संस्कार के लिए पैसे नहीं होंगे। घाट पर बीडीओ विकास शुक्ल, एडीओ कोआपरेटिव विमल यादव, चौकी प्रभारी दुर्गेर्श सिंह, इंस्पेक्टर नवाबगंज अवन दीक्षित, वीडियो सत्येंद्र सिंह मौजूद रहे। प्रशासन मंगलवार को यहां गंगा की कटान रोकने के लिए उपाय करेगा।
एक बच्ची का शव दफन करने के लिए श्रृंग्वेरपुर में घाट पर पहुंचे परिजनों को रोक दिया गया। कुंडा इलाके के बेंती गांव से लोग ढाई वर्ष बच्ची का शव लेकर दफनाने पहुंचे थे। लेकिन अफसरों ने उन्हें बच्ची को दफन करने से रोक दिया। हालांकि, दाह संस्कार में मदद करने का आश्वासन दिया। लेकिन परिजन राजी नहीं हुए। शव लेकर वापस चले गए। अब विपक्षी दल सरकार पर हमलावर हैं।
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